नष्ट हुए 6 केन बम, पर दहशत अब भी बरकरार

By om prakash pandey Feb 17, 2018

बम स्क्वायर्ड को धर्मशाला से मिले 6 केन बम, 3 साथी अब भी फरार
इलेक्ट्रॉनिक डेटोनेटर के जरिए ब्लास्ट कर पुलिस ने किया नष्ट
आसुरक्षा की भावना से सहमे शहरवासी

बम नष्ट करने के बाद ऐसे धमाके के उठा धुँआ

आरा, 16 फरवरी. आरा में हरखेन धर्मशाला में हुए बम ब्लास्ट के बाद पुलिस ने 6 केन बमो को ब्लास्ट कर नष्ट कर दिया. लेकिन शहरवासी अब भी दहशत में जी रहे हैं. उन्हें हर वक्त शहर में ब्लास्ट होने का डर सता रहा है.




भोजपुर जिले के आरा में गुरुवार को भले सुबह हुए बम धमाके के बाद भोजपुर पुलिस, ATS की टीम के साथ मिलकर इस कांड के खुलासे में लग गई, लेकिन आम जन अब भी सहमे हुए हैं. शहर के व्यस्ततम इलाके शीशमहल चौक स्थित हरखेन  कुमार जैन धर्मशाला के कमरा नम्बर 110 में यह विस्फोट हुआ था. बम विस्फोट में दो अपराधी बुरी तरह से झुलस गए थे. उन दोनों की पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है, जबकि शेष 3 साथी अब भी फरार हैं. उनके गिरफ्तारी के लिए लगातार पुलिस और ATS की टीम छापेमारी कर रही है. धमाके के बाद जैन धर्मशाला को ATS की टीम ने पूरी तरह से सील कर दिया था. जहाँ पुलिस को ब्लास्ट हुए कमरे से 6 देसी छोटा केन बम, 1 स्वचालित पिस्टल, दो देसी कट्टा, 1 दर्जन से अधिक गोलियां, मैगजीन और एक बैग मिला. इन बमो को बम निरोधक दास्ताँ ने शुक्रवार को सुबह लगभग 5 बजे आरा के चंदवा हवाई अड्डे के पास एक गड्ढे में इलेक्ट्रॉनिक डेटोनेटर के जरिए ब्लास्ट कर बम को नष्ट किया गया. बम का धमाका इतना तेज था कि आसपास के लोग दहल उठे ,इससे यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि जिस बम का धमाका जैन धर्मशाला में हुआ वह कितना शक्तिशाली होगा. हालांकि पुलिस ने इस बम को लो इंटेंसिटी का बम बताया है.

बम नष्ट होने की प्लानिंग करते हुए जवान

पुलिस कई बिंदुओं पर जांच कर रही है जिसमें बैंक लूट से लेकर किसी बड़े अपराधिक साजिश को अंजाम देने की बात हो सकती है. पुलिस इस बिंदु पर भी विचार कर रही है कि आखिर किस साजिश के  फिराक में ये अपराधी बंगाल से आरा पहुंचे? हालांकि भोजपुर SP अवकाश कुमार ने इस घटना को जमीनी विवाद ही बताया है.

बम को नष्ट करने के लिए ले जाता जवान

क्या है जमीनी विवाद?

पटना नाउ को मिली सूत्रों के हवाले से मुख्य आरोपी मुफ्फसिल थाना के गंगहर निवासी श्रीराम सिंह का पुत्र जितेंद्र कुमार सिंह एक फरारी अपराधी है. उसने एक साल पहले जमीनी विवाद में अपने चाचा बलिराम सिंह को गोली के बेटे हरेंद्र सिंह को गोली मारी थी और फरार हो गया था. इस संदर्भ में मई 2017 में एक केस भी जितेंद्र समेत तीन लोगों पर हरेंद्र ने किया था. हरेंद्र इलाज के बाद बच गया. श्रीराम सिंह का पूरा परिवार बंगाल के 24 परगना में रहता है. श्रीराम सिंह 5 भाई है जिनको 5 बिघा जमीन और मकान है. बंगाल शिफ्ट होने के बाद भी जितेंद्र गांव के जमीन और मकान पर दखल चाहता है और इसी उद्देश्य से वह साजिशों को अंजाम देने में लगा रहता है. उसने पिछले साल रक्षाबंधन के समय भी हरेंद्र को फोन कर मकान खाली करने की धमकी दी थी.

उधर घायल अपराधी विक्की पासवान का इलाज पटना के PMCH में चल रहा है,जबकि मास्टर माइंड जितेंद्र कुमार सिंह से भोजपुर पुलिस किसी गुप्त स्थान पर पूछताछ कर रही है. पुलिस का मानना है कि जल्द ही इस केस के तह तक पहुंच जाएगी.

बम डिफ्यूज करता जवान
बम को उतरता जवान

अनहोनी की आशंका सहमे आरावसी
इस घटना के बाद आरावासी का बुरा हाल है. दिनभर घर से लेकर चाय के चुककड़ो के साथ चौक-चौराहों और नुक्कड़ों पर इस बम विस्फोट की ही चर्चा सभी कर रहे है. लोगों को यह डर सता रहा है कि उनके अपने शहर में भी अब आतंकी घुस गए हैं जो कभी भी शहर में कही भी विस्फोट कर सकते हैं. उनका डर इस बात को लेकर है कि 3 भागे हुए अपराधी कहीं अभी तक शहर में तो नही छुपे? इस पूरी घटना के बाद शहर के सुरक्षा व्यवस्था पर सवालिया निशान खडा हो गया है. आखिर बंगाल से आए सभी अपराधी एक ID कार्ड पर एक रूम में कैसे ठहरे थे?  अक्सर पैसे के लालच में होटल या धर्मशाला वाले बिना आई कार्ड देखे भी रूम दे देते हैं. दे भी क्यों न जब 100 कि जगह कोई उन्हें हजार देने को तैयार हो जाये. हालांकि एक बहुत बड़ा सवाल है भोजपुर के सिस्टम पर हालांकि जिले के सभी वरीय पदाधिकारी भी इस घटना के बाद सकते में हैं. यही वजह है कि कोई कुछ भी कहने से परहेज कर रहा हैं. अब देखना यह होगा कि जमीनी विवाद की बात बताने वाले भोजपुर SP अपराधियो को अपने जांच के तिलस्म में उलझा इस षडयंत्र का पर्दाफाश कितनी जल्द करते हैं.

कितना कारगर CCTV?
शहर में घटना के बाद पता चलता हैं कि CCTV कितने काम का है? अक्सर घटना के बाद CCTV खराब ही मिलते हैं. यहां भी धर्मशाला में लगा CCTV पिछले 3 दिनों से खराब पड़ा था. यही नही DAV में भी कुछ महीने पूर्व CCTV की पोल तब खुली जब एक बच्चा स्कूल से घर गया ही नही. जब CCTV चेक करने की बारी आई तो पता चला कि 3 दिन पहले शॉट सर्किट में सब वायर जल गए जिससे काम नही कर रहा है. अक्सर घटना के 2-3 पहले से ही CCTV क्यों खराब हो जाते हैं?

नक्सली कनेक्शन की भी हो रही है जांच
पटना ATS और CRPF की जांच दल सयुंक्त रूप से पकड़े गए अपराधियों की नक्सली साठ-गांठ की जाँच कर रही है. पकड़ा गया विक्की पासवान जहां कोलकाता के तेलीपाड़ा का है वही मास्टर माइंड जितेंद्र 24 परगना जिले के पंचाननतला में रहता है. इनके पास से मिले केन बम, बैग में रखे विस्फोटक, पिस्टल और गोलियां इनके नक्सली कनेक्शन होने का पुख्ता प्रमाण दे रही है. क्योंकि आमतौर पर ऐसे केन बम का इस्तेमाल नक्सली ही करते हैं. बहरहाल पुलिस इस बिंदु पर भी गम्भीर रूप से जाँच कर रही है.

आरा से ओ पी पांडेय की रिपोर्ट

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